पटाखों से नहीं हो सकता इतना बड़ा धमाका,नेपाल सीमा के पास विस्फोट से लोगों में दहशत

A G SHAH
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राजेश कुमार यादव की रिपोर्ट

नेपाल सीमा से सटे कपिलवस्तु कोतवाली क्षेत्र के अलीगढ़वा कस्बे के लोग घटना के 48 घंटे बाद भी धमाकों की गूंज से उबर नहीं पाए हैं।लोगों का मानना है कि यह धमाका सिर्फ पटाखों का नहीं हो सकता है। बम निरोधक दस्ते की जांच भी लोगों की आशंकाओं को बल दे रहा है। घटना की जांच के लिए अब गोरखपुर की एटीएस टीम भी अलीगढ़वा कस्बा पहुंच चुकी है। एटीएस एक-एक चीजों की गंभीरता से जांच कर रही है। इस मामले में तत्कालीन कोतवाल ज्ञानेंद्र राय सहित हल्का दारोगा व बीट सिपाही को पुलिस अधीक्षक अभिषेक अग्रवाल ने निलंबित कर दिया है।

कपिलवस्तु कोतवाली क्षेत्र के अलीगढ़वा कस्बे में मंगलवार दोपहर अचानक धमाकों की गूंज होने लगी। लगभग घंटे भर धमाकों की गूंज होती रही।फायर ब्रिगेड और पुलिस मौके पर पहुंची।फायर ब्रिगेड के लिए भी आग पर काबू पाना आसान नहीं था।घटना के 30 घंटे बाद भी मकानों से धुएं उठते रहे। बाद में पटाखे के गोदाम से चार शव निकाले गए। इसमें दो शव पहले निकाले गए। इसमें एक शव पटाखा गोदाम संचालक अजय कसौधन का था।

गोदाम के मलबे से दो शव मंगलवार रात लगभग 12 बजे निकाले गए।बुधवार को बम निरोधक दस्ते ने घटनास्थल की जांच की। इतने बड़े धमाके को लेकर वह खुद भी हैरान है। इस घटना में 17 दुकानें क्षतिग्रस्त हो गई हैं। बम निरोधक दस्ते का मानना है कि सिर्फ पटाखे से इतनी बड़ी घटना नहीं हो सकती है। प्रशासन पहले इसे रेफ्रिजरेटर के कंप्रेशर व सिलेंडर का फटना मान रहा था।

बम निरोधक दस्ते की जांच में मौके से न ही फटा सिलेंडर मिला है और न ही फटा कंप्रेशर। कंप्रेशर पूरी तरह सुरक्षित पाया गया है।अब मामला यहां आकर फंस गया है कि आखिर धमाका हुआ किस चीज से है। इसकी जांच के लिए गोरखपुर की एटीएस टीम भी अलीगढ़वा पहुंच चुकी है।एटीएस मामले की जांच में जुटी हुई है।

मुर्तजा प्रकरण से भी पुलिस ने नहीं लिया सबक

कपिलवस्तु कोतवाली पुलिस ने मुर्तजा अब्बासी प्रकरण से भी सबक नहीं लिया।गोरखपुर के मुर्तजा अब्बासी तीन अप्रैल 2022 को इसी रास्ते होकर नेपाल के एक मदरसे में गया था। वहां लौटकर उसने अलीगढ़वा कस्बे से गैंती खरीदी और उसे ले जाकर गोरखनाथ मंदिर गोरखपुर में सुरक्षा कर्मियों पर हमला कर दिया था। यूपी एटीएस की टीम ने अपनी जांच में मुर्तजा को आतंकी संगठन का सदस्य बताया था। इस गंभीर प्रकरण के बाद भी पुलिस ने नेपाल सीमा से सटे इस कस्बे की संवेदनशीलता पर ध्यान नहीं दिया।दशहरा बीत गया। दीपावली नजदीक है,लेकिन पुलिस पटाखे की वैध व अवैध दुकान और गोदामाें की कोई चेकिंग नहीं की है।

धमाके डर से नही लगी साप्ताहिक बाजार

गुरुवार को अलीगढ़वा की साप्ताहिक बाजार लगती है। लोगों का मानना है कि गनीमत थी कि उस दिन गुरुवार नहीं था। अन्यथा मरने वालों की संख्या चार से बढ़ भी सकती थीं। इस गुरुवार को धमाके के डर के चलते लोगों ने अलीगढ़वा की साप्ताहिक बाजार नहीं लगाई है।

जानें क्या कहते हैं अधिकारी

जिलाधिकारी पवन अग्रवाल ने कहा कि अलीगढ़वा के प्रकरण को पूरी गंभीरता से लिया जा रहा है। कोतवाल सहित हल्का दारोगा व बीट सिपाही के खिलाफ निलंबन की कार्रवाई की गई है। मामले की जांच जारी है। जांच के बाद ही अगली कार्रवाई होगी।


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